त्योहारों का मौसम आते ही ट्रेनों में पैर रखने की जगह नहीं मिलती। हर कोई अपने घर,अपने परिवार के पास पहुंचना चाहता है। हम महीनों पहले से टिकट बुक करते हैं,पैकिंग करते हैं,और इस उत्साह में अक्सर एक ऐसी गलती कर बैठते हैं,जो हमारे पूरे सफर का मजा किरकिरा कर सकती है - और वो हैजरूरत से ज्यादा सामान (Luggage)ले जाना।अगर आप भी इस त्योहारी सीजन में ट्रेन से सफर करने की तैयारी कर रहे हैं,तो बैग पैक करने से पहले यह खबर बहुत ध्यान से पढ़ लें। भारतीय रेलवे (Indian Railways)ने लगेज को लेकर अपने नियमों को एक बार फिर से याद दिलाया है,और साफ-साफ चेतावनी दी है कि नियमों को तोड़ने वालों परभारी जुर्मानालगाया जाएगा,जो आपके टिकट के किराए से भी कई गुना ज्यादा हो सकता है।कितना सामान ले जा सकते हैं आपFREEमें?अक्सर हम सोचते हैं कि ट्रेन में कितना भी सामान ले जा सकते हैं,लेकिन ऐसा नहीं है। हर कोच के लिए एक लिमिट तय है,जिससे ज्यादा सामान ले जाने पर आपको चार्ज देना पड़ता है।स्लीपर क्लास (Sleeper Class):आप अपने साथ40किलोतक का सामान बिना कोई एक्स्ट्रा चार्ज दिए ले जा सकते हैं।AC 2-टियर / फर्स्ट क्लास:इस क्लास में लिमिट थोड़ी ज्यादा है,आप50किलोतक का सामान फ्री में ले जा सकते हैं।AC 3-टियर:इसमें आप40किलोतक का लगेज ले जा सकते हैं।फर्स्ट क्लासAC:इसमें सबसे ज्यादा, 70किलोतक की छूट है।अगर सामान ज्यादा हुआ तो क्या होगा?अगर चेकिंग के दौरान आपका सामान इस लिमिट से ज्यादा पाया गया,तो रेलवे आपसे जुर्माना वसूलेगा। यह जुर्माना नॉर्मल लगेज चार्ज काछह गुनातक हो सकता है! उदाहरण के लिए,अगर आपके500रुपये के लगेज का चार्ज बन रहा है,तो आपको3000रुपये तक का जुर्माना देना पड़ सकता है।पालतू जानवर और ऑक्सीजन सिलेंडर ले जाने के नियमपालतू जानवर (Pet):अगर आप अपने पालतू कुत्ते या बिल्ली को साथ ले जाना चाहते हैं,तो आपको उसे लगेज यान (Brake Van)में बुक कराना होगा। आप उसे अपने साथ कोच में नहीं ले जा सकते।ऑक्सीजन सिलेंडर (Oxygen Cylinder):अगर किसी मरीज को मेडिकल जरूरत के लिए ऑक्सीजन सिलेंडर ले जाना है,तो इसके लिए डॉक्टर का सर्टिफिकेट दिखाना और रेलवे से पहले से इजाजत लेना अनिवार्य है। इसे बिना इजाजत के ले जाना खतरनाक और गैर-कानूनी है।त्योहारों पर क्यों होती है इतनी सख्ती?त्योहारों के समय ट्रेनों में भीड़ बहुत ज्यादा होती है। ऐसे में,ज्यादा सामान रखने से आने-जाने का रास्ता रुक जाता है,जिससे बाकी यात्रियों को परेशानी होती है और इमरजेंसी के समय भगदड़ जैसी स्थिति पैदा हो सकती है।इसलिए,इस बार जब घर के लिए पैकिंग करें,तो थोड़ा स्मार्ट बनें। सिर्फ उतना ही सामान ले जाएं,जितना जरूरी हो,ताकि आपका और आपके साथ सफर कर रहे लोगों का त्योहारों का यह सफर आरामदायक और मंगलमय हो।
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